हे श्यामलिया कृपा वर्षावो, 

गिरनारनी गोदे लइ जाओ, 

राह जोऊ.. राह जोऊ…. 

नेम आवशे ने लई जाशे….(१)

 

जीवननी लगनी लागी, तारा रंगे, 

आवुं मारे तारा संगे हैयुं हरखे, 

मनडुं मोहे, तारा उमंगे, 

आवुं मने तारा चरणे, 

तारा विना लागे जगमां सुनु, 

हे प्रीतम प्यारा, पासे बोलावो,

 गिरनारनी गोदे लइ जाओ, 

राह जोऊ… राह जोऊ… 

नेम आवशे ने लई जाशे…(२)

 

तारो मारो संबंध जगमां, प्यारो प्यारो, 

देजो मने साथ तमारो, 

 करवा नथी कर्म मारे, मानव भवमां,

 याचुं सफेद वस्त्र आ भवमां,

 शीश धरूं, तारा चरणमां, 

सोप्युं जीवन, तारा चरणमां, 

हे निरंजन, मोह तोडावो,

 संयमीना भाव जगाडो, 

राह जोऊ.. राह जोऊ…. 

नेम आवशे ने लई जाशे…(३)

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